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रेगाखार घटना पर कांग्रेस का जुबानी हमला, छत्तीसगढ़ की प्रभारी सचिव सुश्री जरिता लेतफलांग ने कहा, हत्याएं और पुलिस की ज्यादतियां ही भाजपा की कानून व्यवस्था का नया चेहरा

बिगुल

अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की सचिव और छत्तीसगढ़ की प्रभारी सचिव सुश्री जरिता लेतफलांग ने कहा है कि छत्तीसगढ़ में भाजपा सरकार की कानून प्रशासन की विफलता का खौफनाक चेहरा एक बार फिर सामने आया है। ग्राम लोहारीडीह के निवासी प्रशांत साहू की पुलिस हिरासत में मौत भाजपा सरकार की कानून व्यवस्था पर बड़ा सवाल खड़ा करती है।

उन्होंने कहा कि प्रशांत की मां का दर्दनाक चीखना और दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग करना इस बात का प्रमाण है कि भाजपा सरकार और पुलिस प्रशासन ने इस मामले में अमानवीयता की सारी हदें पार कर दी हैं।

सुश्री जरिता ने आगे कहा कि पुलिस प्रताड़ना के चलते प्रशांत साहू की मां खुद चल नहीं पा रही हैं और खून की उल्टियां कर रही हैं। क्या यही भाजपा सरकार की ‘सुशासन’ की परिभाषा है। प्रशांत के शरीर पर चोट के गंभीर निशान दिखाते हैं कि उसे बर्बरता से पीटा गया, जो एक अमानवीय कृत्य है।

सुश्री जरिता ने भाजपा सरकार पर जुबान हमला जारी रखा और कहा कि प्रदेश के गृह मंत्री के ही जिले में ऐसी घटनाएं हो रही हैं और मुख्यमंत्री मौन हैं। क्या छत्तीसगढ़ में अब खुलेआम हत्याएं और पुलिस की ज्यादतियां ही भाजपा की कानून व्यवस्था का नया चेहरा बन चुकी हैं?

अतः कांग्रेस मांग करती है:

  1. गृह मंत्री को तत्काल बर्खास्त किया जाए।
  2. प्रदेश में बिगड़ती कानून व्यवस्था पर कड़ी कार्रवाई हो।
  3. इस घटना की जांच हाईकोर्ट के सिटिंग जज से करवाई जाए।
  4. कचरू साहू का दोबारा पोस्टमार्टम करवाया जाए।
  5. रेगाखार थाने की सीसीटीवी फुटेज को सार्वजनिक किया जाए।

उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार को इस क्रूरता का जवाब देना होगा। प्रदेश की जनता इस अमानवीयता को सहन नहीं करेगी। प्रदेश में बिगड़ती कानून व्यवस्था के विरोध में छत्तीसगढ़ कांग्रेस कमेटी 21 सितंबर को पूरे प्रदेश में बंद का आवाहन करती है।

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