चालान में 17 लाख की हेराफेरी, आरक्षक गिरफतार, विभागीय ऑडिट से पता चला कि सरकारी खाते में राशि जमा नही हुई
बिगुल
सूरजपुर. सूरजपुर में पुलिस ने एक आरक्षक को गिरफ्तार किया है जो बीते आठ सालों से अपने ही विभाग को चूना लगा रहा था।
दरअसल जयनगर थाने में पदस्थ आरक्षक दीपक सिंह की ड्यूटी यातायात के तहत वसूल किये गए राशि को ट्रेजरी के सरकारी खाते में जमा करने की थी लेकिन आरोपी आरक्षक ने इस कदर अपना शातिर दिमाग दौड़ाया की उसने बैंक की फर्जी सील और रशीद बनाकर अपने ही विभाग को 17 लाख 50 हजार रुपये का चूना लगा दिया।
आरक्षक का अपने ही विभाग से यह धोखाधड़ी का खेल पिछले 8 सालों से बद्दस्तूर जारी था लेकिन इस बार के विभागीय ऑडिट में जब अधिकारियों को सरकारी खाते में पैसा जमा नहीं होने की जानकारी मिली तो उनके पैरों तले जमीन खिसक गई। आनन फानन में आरोपी आरक्षक को हिरासत में लेकर जब पूछताछ की गई तब पता चला कि आरोपी बैंक की फर्जी रसीद और सील की सहायता से पिछले 8 वर्षों से ट्रेजरी में फर्जी भुगतान की रसीद जमा करते आ रहा था और आरोपी जिस जिस थाने में पदस्थ रहा वहाँ के चालानी वसूली का उसने गबन किया है।
बरहाल पुलिस ने आरोपी आरक्षक के विरुद्ध 420 सहित कई धाराओं के तहत मामला पंजीबद्ध करते हुए आरोपी आरक्षक को न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया है। दूसरी ओर धोखाधड़ी के इस मामले ने पुलिस की कार्यप्रणाली पर भी कई सवालिया निशान खड़े कर दिए हैं। विगत 8 वर्षों से जारी सरकारी पैसों के गबन के खेल को पुलिस अब तक कैसे नहीं पकड़ पाई जबकि विभाग की ऑडिट हर वर्ष होता है। मामला चाहे जो हो अब देखने वाली बात होगी कि ऐसा मामला सामने आने के बाद पुलिस विभाग में कितनी कसावट देखने को मिलती है।