Blog

देश का सबसे बड़ा माओवादी सरेंडर जल्द; नक्सली रूपेश अपने 120 साथियों के साथ कर सकता है आत्मसमर्पण

बिगुल
छत्तीसगढ़ में नक्सलवाद अब अपने अंतिम चरण में है या यूं कहे की वो आखिरी सांसें ले रहा है। सुरक्षा बलों के नक्सल ऑपरेशन से नक्सली भयभीत और घबराये हुए हैं। लगातार सरेंडर कर रहे हैं। इसी क्रम में आज गुरुवार को बीजापुर में देश का सबसे बड़ा माओवादी आत्मसमर्पण हो सकता है। सूत्रों के मुताबिक, नक्सली प्रवक्ता और डीकेएसजेडसी सदस्य रुपेश उर्फ सतीश उर्फ आसन्ना अपने 120 साथियों के साथ जगदलपुर या बीजापुर के भैरमगढ़ में पहुंचकर फोर्स के सामने आत्मसमर्पण कर सकता है। ऐसे में माना जा सकता है कि यह देश का सबसे बड़ा माओवादी सरेंडर होगा।

सूत्रों के मुताबिक, इन 120 नक्सलियों में से 70 से ज्यादा नक्सली हथियारों के साथ सरेंडर कर सकते हैं। बताया जाता है कि नक्सलियों की पूरी माड़ डिवीजन की टीम इंद्रावती नदी पार करके भैरमगढ़ पहुंचेगी। बीजापुर जिला प्रशासन ने रुपेश समेत समर्पण करने वाले 120 नक्सलियों को लाने के लिए पूरी तैयारी कर रखी है। इंद्रावती नदी से भैरमगढ़ तक चाक-चौबंद सुरक्षा के बीच सभी नक्सली हथियार डालने के लिये पहुंचेंगे।

बता दें कि रूपेश नक्सली प्रवक्ता है, उसने ही हाल ही में प्रेसनोट जारी कर शांतिवार्ता की पेशकश की थी। प्रेसनोट में केंद्र सरकार से नक्सल विरोधी अभियान को छह महीनों के लिए रोकने की गुजारिश की थी। जिसे केंद्र और राज्य की बीजेपी सरकार ने सिरे से नकार दिया था। सरकार का कहना था कि गोली और बोली दोनों एक साथ नहीं हो सकता।

15 अक्तूबर को कांकेर जिले के कोयलीबेडा थाना क्षेत्र के बीएसफ कैंप में टॉप माओवादी लीडर राजू सलाम समेत 50 से ज्यादा नक्सलियों ने सरेंडर किया था। हालांकि इसकी आधिकारिक तौर पर पुष्टि नहीं हुई थी। अधिकारी फिलहाल कुछ भी कहने से बच रहे हैं। चर्चा है कि नक्सलियों ने हथियार के साथ सरेंडर किया है।

सुकमा जिले में बुधवार को कुल 27 माओवादियों ने आत्मसमर्पण किया था, जिनमें 50 लाख रुपये के इनामी नक्सली भी शामिल हैं। आत्मसमर्पण करने वालों में पीएलजीए बटालियन नंबर-एक के दो हार्डकोर सदस्य, एक सीपीआई (माओवादी) डिवीजन स्तर का कैडर, एक पार्टी कार्यकर्ता और 11 संगठनात्मक सदस्य शामिल हैं।

आत्मसमर्पण करने वालों में 10 महिलाएं और 17 पुरुष माओवादी शामिल हैं। प्रशासन के अनुसार, आत्मसमर्पित नक्सलियों पर अलग-अलग स्तर पर इनाम घोषित था। एक पर 10 लाख, तीन पर आठ-आठ लाख रुपये, एक पर तीन लाख रुपये, दो पर दो-दो लाख रुपये और नौ पर एक-एक लाख रुपये घोषित था। पुलिस अधिकारियों का कहना है कि लगातार चल रही छत्तीसगढ़ नवसंकल्प आत्मसमर्पण नीति और नियदनेल्लानार योजना का असर अंदरूनी इलाकों में साफ दिख रहा है।

Show More

The Bigul

हमारा आग्रह : एक निष्पक्ष, स्वतंत्र, साहसी और सवाल पूछती पत्रकारिता के लिए हम आपके सहयोग के हकदार हैं. कृपया हमारी आर्थिक मदद करें. आपका सहयोग 'द बिगुल' के लिए संजीवनी साबित होगा.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button