गृहमंत्री अमित शाह ने बड़ा एलान किया है। शाह के एलान के संकेत साफ है कि भाजपा लोकसभा चुनाव के सातवें और अंतिम चरण का मतदान संपन्न होने के पहले से ही भावी मंत्रिमंडल की रूपरेखा तैयार कर रही है। शाह चुनावी सभाओं से ही संकेत दे रहे हैं कि जनता फलां नेता को जिताती है, तो वह केंद्र में मंत्री बनेंगे। ऐसा ही ऐलान अमित शाह ने औरंगाबाद में रविवार को बिहार की हॉट सीट बने काराकाट संसदीय क्षेत्र से एनडीए समर्थित राष्ट्रीय लोक मोर्चा प्रत्याशी उपेंद्र कुशवाहा के समर्थन में आयोजित चुनावी सभा में किया।
उपेंद्र कुशवाहा बड़े नेता, बड़ा आदमी बनाएगी भाजपा’
अमित शाह ने चुनावी सभा को संबोधित करते हुए कहा कि उपेंद्र कुशवाहा बड़े नेता हैं। आप बिना किंतु-परंतु के संसद में भेजिए। उन्हें बड़ा आदमी बनाने का काम भाजपा करेगी। उपेंद्र कुशवाहा को बड़ा नेता कहने और बड़ा आदमी बनाने की बात कहने का आशय साफ है कि एनडीए का नेतृत्व कर रही भाजपा ने कुशवाहा को केंद्र सरकार में मंत्री बनाने का मन बना लिया है। इस संकेत के बहाने भाजपा एक तरह से जनता से अघोषित तौर पर यह भी कह रही है कि काराकाट की जनता अगर उपेंद्र कुशवाहा को चुनती है तो वह अपना सांसद नहीं बल्कि केंद्रीय मंत्री चुनेगी। शाह की इस बात का एक संकेत यह भी माना जा सकता है कि लोकसभा चुनाव जीतने के प्रति आश्वस्त भाजपा ने अंदरखाने में अपने मंत्रिमंडल का खाका भी तैयार कर लिया है।
मोदी जो बात न कह सके, उसे शाह ने कह दिया
काराकाट के डेहरी में शनिवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उपेंद्र कुशवाहा के समर्थन में चुनावी सभा को संबोधित किया था। इस सभा में पीएम ने विरोधियों पर खूब जुबानी हमला किया था। लेकिन कुशवाहा को केंद्र में मंत्री बनाने को लेकर किसी तरह का संकेत नहीं दिया था। वहीं, अगले ही दिन गृहमंत्री अमित शाह ने काराकाट लोकसभा क्षेत्र के दाउदनगर की चुनावी सभा में इसका सीधा संकेत दे दिया। वैसे भी भाजपा में पीएम मोदी के बाद भाजपा और केंद्र सरकार में शाह की हैसियत नंबर टू की है। यह भी सर्व विदित है कि पीएम मोदी शाह की बातों को कभी टालते नहीं हैं। शाह की हर बात को वे तरजीह देते हैं। भाजपा में मोदी और शाह की जोड़ी के सामने किसी भी पार्टी नेता को बोलने के पहले बहुत कुछ सोचना पड़ता है। ऐसे में शाह के संकेत से यह तय माना जा रहा है कि अगर उपेंद्र कुशवाहा चुनाव जीतते हैं तो उनके मंत्री बनने की गारंटी ‘मोदी की गारंटी’ वाली है।
कुशवाहा के मंत्री बनने के नाम पर मांगे जा रहे वोट
काराकाट के चुनावी रण में उतरने के साथ ही एनडीए के घटक सभी दलों के स्थानीय नेता चुनाव प्रचार के दौरान जनता के सामने यही बात बार-बार कह रहे हैं कि वोट बर्बाद मत कीजिए। दूसरे को वोट दीजिएगा तो वोट बर्बाद हो जाएगा। उपेंद्र कुशवाहा को वोट देना सार्थक होगा। कुशवाहा जीतेंगे तो मंत्री बनेंगे। दूसरे जीतेंगे तो सिर्फ सांसद बनेंगे, क्योंकि केंद्र में फिर से एनडीए और मोदी की ही सरकार बनने वाली है।
शाह का दांव कितना पड़ेगा भारी, बताएगा चुनाव परिणाम
अब चुनाव में उपेंद्र कुशवाहा जीतेंगे या कोई और, यह कहना तो फिलहाल मुश्किल है और इसकी सच्चाई का पता तो चुनाव परिणाम से ही चलेगा। इसके बावजूद अमित शाह ने कुशवाहा को मंत्री बनाने का संकेत देकर वोटों के ध्रुवीकरण का एक बहुत बड़ा दांव तो जरूर खेल दिया। यह दांव कितना भारी पड़ता है.